
सार……..
⭕ मातृभूमि सेवा मिशन रायबरेली के द्वारा कुष्ठआश्रम में चंद्रशेखर आजाद की जयंती पर वृक्षारोपण एवं वृक्ष वितरण का किया गया कार्यक्रम।
विस्तार….…..
रायबरेली: क्रांतिकारी चंद्रशेखर आजाद का जन्म 23 जुलाई 1906 को मध्य प्रदेश के भंवरा गांव में हुआ था। चंद्रशेखर आज़ाद अपने माता-पिता के लाडले थे। उनके पिता सीताराम तिवारी नौकरी से रिटायर होकर 8 रुपये की मासिक तनख्वाह पर उद्यानों के सुपरिन्टेन्डेन्ट नियुक्त हुए थे। इसी गांव के एक विद्यालय में पढ़ते हुए आज़ाद ने भील लड़कों के साथ तीर-धनुष चलाना सीखा। लेकिन जल्द ही तीर-कमान की जगह पिस्तौल ने ले ली। आजाद हिंदुस्तान सोशलिस्ट रिपब्लिकन पार्टी के प्रमुख नेता थे। यह गरम दल के नेता थे मात्र 25 वर्ष की आयु में मातृभूमि के लिए सर्वस्व निछावर, त्याग और बलिदान करके गए। शहीद रामप्रसाद बिस्मिल, शहीद भगत सिंह इनके अनन्य साथी थे। देश को स्वतंत्र कराने के लिए भगत सिंह के साथ लाहौर में लाला लाजपत राय की मौत का बदला सांडर्स की हत्या करके लिया एवं दिल्ली पहुंचकर असेंबली बम कांड को अंजाम दिया।
आपको बता दें कि, हम सभी के प्रेरणास्रोत आजाद ने कहा कि, मेरा नाम आजाद, मेरे पिता का नाम स्वतंत्रता और मेरा घर जेल है। आजाद अपने जीवन में अंतिम सांस तक अपने देश के लिए दुश्मनों से लड़ते रहे उन्होंने कहा था कि, वह ऐसे धर्म को मानते हैं जो स्वतंत्रता, समानता और भाईचारा सिखाता है उक्त बातें संस्था के संयोजक प्रदीप पांडेय ने कही।
कुष्ठ आश्रम के अध्यक्ष मोरारी ने दीप प्रज्वलित कर आजाद के चित्र पर माल्यार्पण करके वहां पर उपस्थित बच्चे, युवा, मातृशक्ति, वृद्ध समेत सभी लोगों ने श्रद्धा सुमन पुष्प अर्पित कर नमन किया और कहा कि, आजाद के त्याग एवं बलिदान को देश हमेशा याद रखेगा।
वरिष्ठ समाजसेवी महेंद्र अग्रवाल एवं कार्यक्रम संचालक योग प्रशिक्षक बृजमोहन ने विभिन्न बीमारियों के बारे में योग एवं आयुर्वेद की जानकारी दी।